म्हा मोहणरो रूप लुभाणी January 30, 2019February 16, 2019 meera_admin Views : राग गूजरी म्हा मोहणरो रूप लुभाणी ।।टेक।। सुन्दर बदण कमल दल लोचण, बाँकाँ चितवण णेणाँ समाणी। जमणा किणारे कान्हा धेनु चरावाँ, बंशी बजावाँ मीट्ठाँ वाणी। तण मण धण गिरधर पर वाराँ, चरण कँवल बिलमाणी।। 11।।